आवृतबीजी पौधों के भ्रूण (Embryo) तथा बीज (Seed) में अन्तर

आवृतबीजी पौधे वे पुष्पीय पौधे होते हैं जिनमें बीज फलों के अंदर बंद रहते हैं। इन पौधों के जीवन इतिहास में एक अत्यंत विकसित बीजाणु उद्भिद अवस्था तथा एक बहुत कम विकसित युग्मकोद्भिद अवस्था मिलती हैं। भ्रूण बीज के अंदर होता है। आइये देखते हैं भ्रूण (Embryo) तथा बीज (Seed) में क्या अंतर होता है – 

भ्रूण (Embryo) तथा बीज (Seed) में अन्तर

भ्रूण (Embryo)बीज (Seed)
भ्रूण का विकास निषेचन के पश्चात् बने युग्मनज से  होता है। बीज का विकास निषेचन के पश्चात् बीजाण्ड से होता है।
भ्रूण वास्तव में बीज का ही अंश है तथा इसी के अन्दर सुरक्षित रहता है।बीज, भ्रूण का अंश नहीं है। बीज एक स्वतन्त्र रचना के रूप में फल के अन्दर रहता है।
भ्रूण के अन्दर कोई अन्य रचना नहीं होती है। बीज में भ्रूण के अतिरिक्त भ्रूणपोष, बीजाण्डकाय (nucellus), आदि पाये जाते हैं।
भ्रूण, बीज के अन्दर ही सक्रिय रहता है। बीज से पृथक् करके इसका भूमि में अंकुरण नहीं होता और प्रायः नष्ट हो जाता है। बीज के अंकुरण से नया पौधा बनता है।

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